हापुड़ के गढ़मुक्तेश्वर में जहर खाकर जान देने वाले प्रेमी युगल की नजदीकियों के बारे में परिजनों को भनक तक नहीं थी। यही नहीं जब दोनों घर से निकलकर गायब हुए तो परिजनों को साथ जाने का अहसास तक नहीं हुआ था। जिस वजह से दोनों के परिजन उनको अलग-अलग खोज रहे थे। दोनों के आत्मघाती कदम से परिजन भी सकते में है।वार्ड 32 भूरारानी की दुर्गा काॅलोनी में सकिंदर की पत्नी रेखा (32) आठ फरवरी को संदिग्ध हालात में लापता हो गई थी। घर के पास किराने की दुकान चलाने वाली रेखा बाजार से दुकान का सामान लेने को घर से निकली थी। रेखा के पति ने कोतवाली में जाकर पत्नी की गुमशुदगी का प्रार्थना पत्र दिया था, जिसे पुलिस ने जीडी में दर्ज कर लिया था।तीन बच्चों मीनाक्षी, क्षितिज और आनवी को छोड़कर लापता हुई रेखा को परिजन खोज रहे थे। आठ फरवरी की सुबह ही इसी काॅलोनी में रहने वाला बबलू (19) भी घर से काम पर निकला था। बिना बाइक पैदल घर से निकला बबलू भी वापस लौटकर नहीं आया तो परिजन उसकी तलाश कर रहे थे। शनिवार रात हापुड़ पुलिस ने बबलू के परिजनाें को सूचना दी कि बबलू और रेखा ने जहर खा इधर दोनों की मौत की खबर से दोनों परिवार सदमे में हैं। मोहल्ले वालों का कहना है कि उन्होंने कभी दोनों को आपस में बात करते तक नहीं देखा था। किसी को पता नहीं था कि दोनों के बीच प्रेम प्रसंग चल रहा है। निवर्तमान पार्षद मोहन खेड़ा ने बताया कि सकिंदर और रेखा की शादी को 17 साल हो गए थे। सकिंदर रुद्रपुर में एक ढाबा चलाता है। रेखा और बबलू ने घर से जाने के बाद फोन बंद कर दिए थे। जिसके चलते उनसे कोई संपर्क नहीं हो सका था।लिया है और उनकी मेरठ मेडिकल कॉलेज में मौत हो गई है। इसके बाद दोनों के परिजन हापुड़ के लिए रवाना हो गए थे।
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